गुलाम रिश्ते
विवेक आंखों पर चश्मा लगाकर,,,,ऑफिस में सिस्टम पर बैठकर,,,काम कर रहा है,,,वहां,,,,की बोर्ड के बट्नों की टक-टक,,,टक-टक आवाज आ रही है,,,तभी विवेक के फोन की घंटी बजती है,,,यह फोन विवेक की पत्नी श्वेता ने लगाया है,,,विवेक ने फोन उठाकर पूछा
विवेक -हां,,,,श्वेता कहो"!
श्वेता - शाम के 7:00 गए हैं,,,तुम्हें पता है,,आज हमारी बेटी का जन्मदिन है और आज तुम,,,हमें बाहर घूमाने ले जा रहे हो,,,याद आया या भूल गए"! श्वेता ने चीड़ते हुए कहा
विवेक - हां,, मुझे सब याद है,,,इतना इंपॉर्टेंट दिन में,,,,कैसे भूल सकता हूं,,,बस 5 मिनट में यहां से निकल रहा हूं,, तुम तैयार हो जाओ
श्वेता - विवेक,,,हम 1 घंटे से तैयार होकर,,,तुम्हारा वेट कर रहे हैं,,,मुस्कान दरवाजे पर खड़ी,,,हर बाइक वाले को ऐसे देख रही है,,,जैसे उसके पापा हो
विवेक - बस तुम्हारी यही ताने,,,मुझे समझ में नहीं आते हैं,,,मैं यहां कोई अपने दोस्तों के साथ,,,एश-अय्याशी नहीं कर रहा हूं,,,काम कर रहा हूं और हमारे परिवार के लिए ही कर रहा हूं,,,तुम यह बात क्यों नहीं समझती हो
श्वेता - अगर तुम्हें परिवार की इतनी फिक्र होती तो तुम,,,इस वक्त हमारे साथ होते,,,क्योंकि आज तुम्हारा,,,हमारे साथ होना इंपॉर्टेंट है
विवेक - बहस मत करो,,,मैं बस निकल रहा हूं"! और फोन काट दिया
फिर विवेक उठकर,,,अपने बॉस के केबिन में आया,,,जहां उसका मनचला,,,लड़की बाज बोस अपनी गर्लफ्रेंड से बात कर रहा है
बोस - अरे जानू,,,कैसी बात कर रही हो,,,मेरा सब कुछ तुम्हारा ही है,,,तुम तैयार हो जाओ,,,आज हम साथ में पार्टी करेंगे और खूब इंजॉय करेंगे"!
बॉस ने फोन काटा और सामने खड़े,,,विवेक से कहा
बॉस - अरे क्या,,,खुले सांड की तरह,,अंदर घुस आते हो,,थोड़ा तो डिसिप्लिन में रहा करो,,पार्टी से प्राइवेट बात कर रहा था,,,कहो क्या हुआ"?बॉस ने चीड़ते हुए कहा
विवेक - सर,,,आपको बताया तो था,,,आज मेरी बेटी का जन्मदिन है
बोस - बेटी का जन्मदिन है,,,कोई तुम्हारा या तुम्हारी बीवी का नहीं है,,,बचपन से बाहर निकलो विवेक,,,नहीं तो सारी जिंदगी बच्चे ही रह जाओगे,,,तुम्हारा अभी तक बीवी बच्चों से जी नहीं भरा,,,अगर बीवी बच्चों के चक्कर में पड़े रहोगे तो लाइफ में कुछ नहीं कर पाओगे,,,अपना ध्यान काम पर लगाओ,,,मेहता साहब ने हमें 40 करोड़ का प्रोजेक्ट दिया है,, अगर हमने यह काम कर दिया तो सारी जिंदगी घर बैठकर खाएंगे,,,बीवी बच्चों के लिए सारी जिंदगी पड़ी है,,,जाओ प्रोजेक्ट तैयार करो"! बोस ने डांटते हुए कहा
तभी बॉस के फोन की घंटी बजी,,बॉस ने फोन की स्क्रीन देखकर कहा
बॉस - मेहता साहब का ही फोन है,,जाओ काम करो
विवेक - ठीक है सर"!
विवेक ने दरवाजा लगाकर,,,बाहर से बोस की बात सुनी
बोस फोन पर बात कर रहा है
बोस - हां जानू,,,अभी आ रहा हूं,,अरे,,,तुम्हारे लिए करोड़ों के काम कुर्बान कर दूं,,,बस आ ही रहा हूं
विवेक उदास होकर,,,अपनी कुर्सी पर बैठा और तभी श्वेता का फोन आया
श्वेता - कहां तक पहुंचे हो"?
विवेक - श्वेता सॉरी यार,,,,मैं नहीं आ पाऊंगा,,,बॉस ने बहुत सारा काम दे दिया है,,,रात के 12:00 बज जाएंगे
श्वेता - मैंने सबसे बड़ी भूल,,,तुमसे शादी करके की और उससे भी बड़ी भूल,,,तुम्हें बाप बनाकर की है,,क्योंकि तुम ना तो कभी अच्छे पति बन पाए हो और ना अच्छे बाप,,,,बेटी के जन्मदिन पर दुनिया का हर बाप,,,अपनी बेटी को खुशियां देता है और तुम अनोखे बाप हो,,,जो अपनी बेटी के जन्मदिन पर उसकी आंखों में आंसू देते हो
विवेक- मैं कल तुम्हें,,,पक्का घूमने ले जाऊंगा और हम साथ पार्टी करेंगे"!
श्वेता - विवेक,,,तुमने हमारे रिश्तो को अपने बॉस का गुलाम बना दिया है,,,हर काम का एक तरीका होता है,,,तुम्हारा यह चापलूसी का तरीका,,,ठीक नहीं है
विवेक - में चापलूसी नहीं कर रहा हूं,,,अपना काम कर रहा हूं और इसी काम से हमारी लाइफ चल रही है, हमारे घर खाना आ रहा है और हमारी हर इच्छा पूरी हो रही है
श्वेता - विवेक,,,तुमने,,,मुझे तो समझा दिया,,,अब ऐसे ही अपनी बेटी को भी समझा दो"!
श्वेता ने नम आंखों से कहा और अपनी बेटी को फोन दिया
श्वेता - पापा से बात कर लो
बेटी - पापा,,,आप कब आओगे,,,रात हो गई है और मैं एंजेल बनकर तैयार हो गई हूं
विवेक - हैप्पी बर्थडे माय एंजेल,, आज के लिए तुमसे कान पड़कर सॉरी, क्योंकि पापा,,,आज नहीं आ पाएंगे पर कल का पक्का प्रॉमिस करता हूं,,,कल हम घूमने चलेंगे,,,खिलौने खरीदेंगे,,,मिठाई खरीदेंगे,,,तुम्हारी फेवरेट चॉकलेट,,,आइसक्रीम सब कुछ खरीदेंगे और खूब इंजॉय करेंगे
बेटी - आपने कल भी यही प्रॉमिस किया था,,,आप दुनिया के सबसे गंदे पापा हो,,,मैं,,,आपसे कभी बात नहीं करूंगी और भगवान जी से विश करुंगी कि मुझे कभी आपकी बेटी बनाकर,,,आपके घर नहीं भेजें
यह कहकर मुस्कान रोने लगी,,,मुस्कान की सिसकियां सुनकर,,,विवेक की आंखें भर आई और उसका हलक सूख गया,,,वह कुछ नहीं कह पाया, ,अपनी बेटी को रोते देखकर,,,श्वेता की आंखें भी भर आई और उसने अपनी बेटी को बैठकर,,,गले लगा कर कहा
श्वेता - रियली सॉरी मुस्कान,,,,मैं,,,तुम्हें एक अच्छा पापा नहीं दे पाई
श्वेता के यह शब्द,,विवेक ने सुने और उसे अपनी गलती का एहसास हुआ, ,इसीलिए उसकी आंखे भी झरने की तरह बहने लगी और उसने फोन काटा,,,,,अपने आंसू पोछे
तभी बोस केबिन के बाहर आया और उसने विवेक से कहा
बोस - में,,,,मेहता साहब से मिलने जा रहा हूं,,,भले पूरी रात क्यों ना हो जाए,,,तुम्हें आज यह काम खत्म करना है"! बॉस ने कहा
विवेक - सर,,,में यह काम कल करूंगा,,,आज मेरी फैमिली को मेरी जरूरत है,,,आज मेरी बीवी बच्ची अधूरापन महसूस कर रही है
बोस - एक नंबर के गधे हो तुम,,,,जिसे कितना भी समझाओ,,,कुछ समझ नहीं आता है,,,अगर यहां काम करना है तो मेरी,,,हर बात माननी होगी
विवेक - गधा होगा तेरा बाप,,,दिन भर लड़कियों से बात करता है,, कभी ना तो टाइम पर ऑफिस आता है और ना टाइम पर कोई काम करता है और मुझे डिसिप्लिन सीखाता है
बोस - अपनी हद में रहो,,,मैं,,,तुम्हारा बॉस हूं और तुम मेरे गुलाम हो
विवेक - मैं,,,तेरा गुलाम हूं पर मेरे रिश्ते तेरे गुलाम नहीं है,,, में यह नौकरी अपनी फैमिली की खुशी के लिए कर रहा था पर जिस नौकरी से मेरा परिवार खुश नहीं है,,,मैं वह नौकरी और नहीं कर सकता,,,इसीलिए मैं इस नौकरी को छोड़कर जा रहा हूं,,,यह ले,,,तेरे ऑफिस की चाबी
विवेक ने बॉस को चाबी थमाते हुए कहा और बोस उसे आश्चर्य से देखता रहा
तभी बोस की गर्लफ्रेंड का फोन आया और उसने कहा
गर्लफ्रेंड - तुम अभी तक नहीं आए,,,मैं,,,तुम्हें छोड़कर चली जाऊंगी
बोस - तू क्या मुझे छोड़ेगी,,,मैं खुद तुझे,,,छोड़ता हूं,,,तेरे चक्कर में मेरा,,,सबसे शानदार मैनेजर, मुझे छोड़कर चला गया,,,तेरे जैसी तो 50 मिल जाएगी पर विवेक जैसा ईमानदार और मेहनती काम करने वाला मैनेजर नहीं मिलेगा,,,मैं उससे मिलने उसके घर जा रहा हूं,,,आज उसकी बेटी का जन्मदिन है,,,उसी की फैमिली के साथ पार्टी करूंगा
विवेक ने घर आकर दरवाजा खोला,,,उसकी बेटी भागती हुई आई और उसके पैरों से लिपट गई,,,अपनी बेटी की यह खुशी देखकर,,,विवेक को सुकून मिला और उसकी आंखें खुशी के आंसू से भर आई,,,फिर उसने अपनी पत्नी की आंखों में देखा,,,जिसकी भीगी आंखों में खुशी के आंसू है,,,फिर विवेक ने अपनी पत्नी को गले लगा कर कहा
विवेक - जिस काम से मेरा परिवार खुश नहीं है,,,मैं कभी वैसा काम नहीं करूंगा,,, मैं, ,,तुम्हें पैसे कमाकर वह खुशी नहीं दे सकता,,,जो साथ रहकर दे सकता हूं,,,यह बात समझने में मेने,,,देर कर दी,,,इसके लिए तुम दोनों से माफी मांगता हूं"!
तभी बोस अपने हाथ में गिफ्ट लेकर आया और उसने विवेक से कहा
बोस - सॉरी यार विवेक,,,जब मैंने,, तुम्हें खोया तो मुझे,,,तुम्हारी कमी का पता चला,,,अब मैं,,,हमेशा तुम्हारी और तुम्हारे परिवार के रिश्तों की कदर करूंगा,,, क्योंकि रिश्ते कभी किसी के गुलाम नहीं होते"! बोस ने विवेक के हाथ जोड़ते हुए कहा
Gunjan Kamal
27-Dec-2023 03:25 PM
👏👌
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Rupesh Kumar
27-Dec-2023 03:15 PM
Nice one
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Varsha_Upadhyay
26-Dec-2023 05:03 PM
V nice
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